Poetry on karva chauth

वो बैठी होगी आज उस चाँद के इंतज़ार में,
खाया ना होगा उसने कुछ अपने शौहर की याद में,
वो सज रही होगी आज उस पल की आस में,
जब निकलेगा चाँद आज उस चांदनी रात में।

-thesaurus_of_thoughts

Wo chandani raat

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